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सीमित संसाधनों के बीच पोषण आहार लेने हेतु आमजन को जागरूक किए जाने की जरूरत : कलेक्टर


राजकुमार पंत  
गुना, ब्यूरो : कलेक्टर श्री राजेश जैन ने कहा कि अगर देखा जाए, तो आम भारतीय का खान-पान संतुलित नहीं होता। उन्होंने कहा कि आम लोगों को सीमित संसाधनों के बीच पोषण आहार लेने हेतु जागरूक किए जाने की जरूरत है। कलेक्टर ने यह बात आज यहां सम्पन्न हुए राष्ट्रीय पोषण सप्ताह के अन्तर्गत पोषण जागरूकता सेमीनार में कही। इस सेमीनार का आयोजन महिला एवं बाल विकास विभाग के तत्वाधान में किया गया था। इस सेमीनार में महिला एवं बाल विकास विभाग के अधिकारियों, लोक स्वास्थ्य विभाग के अधिकारियों एवं स्वयंसेवी संगठनों के प्रतिनिधियों ने भाग लिया।

कलेक्टर ने महिला एवं बाल विकास विभाग के मैदानी अमले से कहा कि वे उन लोगों तक पहुंचें, जिन्हें उनकी आवश्यकता है। वे उन लोगों को समझाएं कि वे सीमित साधनों के रहते किन-किन पोषण आहारों का इस्तेमाल करें। कलेक्टर ने कहा कि वे उन लोगों के बीच पहुंचें, जिन्हें दो वक्त का भोजन जुटाना मुश्किल है। इसकी शुरूआत ग्रामीण क्षेत्र से की जाए। ग्रामीण क्षेत्र की उन महिलाओं को पोषण आहार के बारे में समझाया जाए, जो मजदूरी पर जाती हैं और जिन्हें सीमित साधनों के पोषण आहार की जरूरत है। कलेक्टर ने कहा कि समाज के वंचित वर्ग एवं पिछड़े वर्ग के लोगों को सीमित साधनों के पोषण आहार के बारे में बताया जाए। उन्हें उनके आसपास उपलब्ध रहने वाले पोषण आहारों में भुट्टों, मोटे अनाज, खड़े अनाज आदि के सेवन के बारे में बताया जाए। उन्हें सीजन में उपलब्ध होने वाली सस्ती सब्जियों के इस्तेमाल के बारे में समझाईश दी जाए। अगर उनके पास जमीन है, तो वे उस पर सब्जियां उगाकर उनका सेवन करें। मांसाहारी लोग सीमित साधनों में उपलब्ध मांसाहार का सेवन करें।

कलेक्टर ने महिला एवं बाल विकास विभाग के मैदानी अमले को निर्देश दिए कि आंगनवाड़ी केन्द्रों पर अधिक से अधिक गर्भवती माताओं एवं बच्चों को पोषण आहार उपलब्ध कराना सुनिश्चित करें। कलेक्टर ने कहा कि हम आंगनबाडी केन्द्रों में जिस परिवेश में जिन बच्चों के लिए कार्य कर रहे हैं, उन बच्चों को बेहतर परिवेश देना सुनिश्चित करें, जिससे ज्यादा -से-ज्यादा बच्चे आंगनाबाड़ी केन्द्रों में पहुंचें।कलेक्टर ने कहा कि अभी आमजन को पोषण आहार उपलब्ध कराने की दिशा में हमें और अधिक कार्य करने की जरूरत है। उन्होंने इस दिशा में ग्रामीण क्षेत्र में अधिक जागरूकता लाने पर बल दिया और बच्चों के टीकाकरण पर विशेष ध्यान देने के महिला बाल विकास विभाग के अधिकारियों को निर्देश दिए। कलेक्टर ने कहा कि शासन द्वारा प्रदत्त सुविधाओं एवं योजनाओं का लाभ दूरस्थ क्षेत्र में पहुंचाना सुनिश्चित किया जाए। जहां लोगों में जागरूकता लाने की जरूरत है, वहां लोगों को जागरूक किया जाए।

इस मौके पर जिला पंचायत अध्यक्ष श्रीमती अर्चना चौहान ने कहा कि इस बात की जरूरत है कि ग्रामीण क्षेत्र में आमजन को सीमित साधनों के पोषण आहार के बारे में समझाया जाए। उन्हें सीमित साधनों के बीच पोषण आहार लेने हेतु प्रेरित किया जाए। उन्हें समझाया जाए कि उन्हें कौन-कौन-सी चीजें पोषण आहार के रूप में लेनी चाहिए।

जिला पंचायत अध्यक्ष श्रीमती चौहान ने कहा कि महिला एवं बाल विकास विभाग के मैदानी अमले को चाहिए कि वह आमजन को पोषण आहार के बारे में विस्तार से समझाईश देने के साथ-साथ उन्हें पोषण आहार का इस्तेमाल करने के लिए प्रेरित भी करे। उन्होंने कहा कि पोषण आहार कौन-कौन से हैं, उसके बारे में आम लोगों को बताया जाए। उन्होंने गर्भवती महिलाओं एव बच्चों पर पर्याप्त ध्यान देने पर जोर दिया और कहा कि आंगनबाड़ी केन्द्रों में इन्हें नियमित रूप से पोषण आहार उपलब्ध कराया जाना चाहिए।

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